देहरादून। आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन (ABDM) के अंतर्गत चल रहे कार्यक्रमों की समीक्षा हेतु आयोजित बैठक में राज्य मिशन निदेशक एवं राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण की मुख्य कार्यकारी अधिकारी रीना जोशी ने मिशन के निर्धारित लक्ष्यों को तय समयसीमा में पूर्ण करने के निर्देश दिए। उन्होंने अस्पतालों में स्कैन एंड शेयर सुविधा को बढ़ावा देने पर विशेष बल दिया और इसे डिजिटल स्वास्थ्य सेवाओं की सफलता के लिए आवश्यक बताया।
राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण सभागार में आयोजित इस समीक्षा बैठक में रीना जोशी ने माइक्रोसाइट्स प्रोजेक्ट के तहत निजी चिकित्सा इकाइयों—जैसे लैब, क्लीनिक, ब्लड बैंक, फार्मेसी, डायलिसिस सेंटर तथा 50 बेड तक के अस्पतालों—का पंजीकरण अनिवार्य बताया ताकि इन इकाइयों से भी लाभार्थियों को डिजिटल सेवाओं का लाभ प्राप्त हो सके। इससे मरीजों को पर्चा बनवाने के लिए अस्पतालों में लगने वाली लंबी कतारों से राहत मिलेगी।
उन्होंने प्रदेश के सभी मुख्य चिकित्सा अधिकारियों को ABDM द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के अनुसार गंभीरता व तेजी से कार्य करने के निर्देश भी दिए, ताकि स्कैन एंड शेयर सुविधा को राज्यभर में प्रभावी रूप से लागू किया जा सके।
बैठक में यह जानकारी दी गई कि वर्तमान में देहरादून, हरिद्वार, नैनीताल और उधम सिंह नगर जनपदों में माइक्रोसाइट्स प्रोजेक्ट संचालित हो रहा है। अब तक इन चार जिलों में 3030 चिकित्सा इकाइयों और 3728 चिकित्सा कर्मियों (डॉक्टरों व नर्सों) का पंजीकरण किया जा चुका है। साथ ही इन पंजीकृत इकाइयों से लगभग 4.76 लाख हेल्थ रिकॉर्ड डिजिटल रूप में दर्ज किए जा चुके हैं।
बैठक में राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण के निदेशक वित्त अभिषेक आनंद, निदेशक प्रशासन डॉ. विनोद टोलिया, अपर निदेशक प्रशासन निखिल त्यागी, अपर निदेशक आईटी अमित शर्मा एवं ABDM से जुड़े अन्य अधिकारी भी उपस्थित रहे।